हम चार भाई-बहन हैं, हमारे घरमें अनेक समस्या है दो-तीन ज्योतिषों ने बताया कि हमारे घरमें पितृ दोष है ? हम सब बहुत पूजा-पाठ करते हैं तो हमें पितर कष्ट देते हैं और हमारे चाचाके सब बच्चे न के बराबर पूजा पाठ करते हैं परन्तु वे सुखी संपन्न है ऐसा क्यों ?
आपकी आध्यात्मिक क्षमता जितनी अधिक होगी उतनी ही अधिक पितरोंको आपसे अपेक्षा होगी | मात्र पितरोंको क्यों देव, ऋषि और समाजको भी ऐसी जीवात्माओंसे अपेक्षा होती है | कई बार किसी व्यक्तिमें साधना करनेकी अत्यधिक क्षमता हो और यदि वह व्यक्ति योग्य प्रकारसे साधना नहीं करता तो उनके कुलदेवता उनके व्यावहारिक एवं आध्यात्मिक जीवनमें अड़चन निर्माण करते हैं इसे कुलदेवताका प्रकोप कहते हैं और जब वह व्यक्ति योग्य प्रकारसे साधना करने लगता है तो कुलदेवता उन्हें आशीर्वाद दे उनकी व्यवहारिक और आध्यात्मिक उन्नति करते हैं | उसी प्रकार पूर्वज हमें कष्ट देकर हमारा ध्यान अपनी ओर आकृष्ट करना चाहते हैं अतः योग्य प्रकारसे साधना कर उन्हें गति दें और उनका आशीर्वाद प्राप्त करें इससे आपकी व्यावहारिक एवं आध्यात्मिक प्रगति दोनों हो होगी | पितर आपको कष्ट दे रहे हैं चाचाके बच्चोको नहीं, तो एक प्रकारसे यह कृपा ही है आपके उनके प्रिय हैं उनकी सूक्ष्म इशारेको समझें और साधना करें | और एक बात ध्यानमें रखें साधना और योग्य साधनामें अंतर है जैसे कोई भयानक रोग हो जाने पर स्वयं औषधि लेने और वैद्यसे औषध लेनेमें जितना अंतर है उतना ही अंतर साधना और योग्य साधना में है | अतः अध्यात्मशास्त्र अनुसार साधना करें अपने मनानुसार साधना न करें | कलियुगकी योग्य साधना करें, नामजप करें और धर्म प्रसार हेतु तन, मन, धन का त्याग करें आपके जीवन संतका प्रवेश होगा और आप साधनापथ पर अग्रसर होंगे तो आपके जीवनके कष्ट निश्चित ही कम हो जायेंगे |
पितृ दोष निवारण हेतु 'श्री गुरुदेव दत्त' का जप करें | श्री गुरु देव दत्त दत्तात्रेय देवताका मंत्र है इनके बारे और जानकारी हेतु इस लिंक पर जाएँ |